Connect with us

उत्तराखंड

चंपावत में रिवर्स पलायन से ग्राम विकास सम्मेलन, सफल आजीविका मॉडलों पर हुआ व्यापक विमर्श

चंपावत विकास भवन सभागार में उत्तराखंड पलायन निवारण आयोग के उपाध्यक्ष एस.एस. नेगी की अध्यक्षता में “रिवर्स पलायन से ग्राम विकास सम्मेलन” आयोजित किया गया। जिसमें जनपद के विभिन्न क्षेत्रों से आए प्रवासियों, उद्यमियों, कृषकों, युवाओं एवं विभागीय अधिकारियों ने भाग लेकर अपने अनुभव और सुझाव साझा किए। सम्मेलन में रिवर्स पलायन कर सफल आजीविका स्थापित करने वाले प्रेरक व्यक्तियों में पाटी निवासी राजेश भंडारी द्वारा फास्ट फूड व्यवसाय, जाखजिण्डी लोहाघाट निवासी कमल सिंह परथोली द्वारा कोचिंग संस्थान एवं लाइब्रेरी संचालन, पुनावे निवासी पूर्व सैनिक खिलानन्द जोशी द्वारा सेब एवं कीवी उत्पादन, ठाण्टा निवासी प्रदीप शर्मा द्वारा मिल्क प्रोसेसिंग यूनिट और पाटी निवासी उमाकांत द्वारा टैक्सी सेवा शुरू कर ग्रामीण अर्थव्यवस्था को मजबूत करने जैसे उल्लेखनीय कार्य प्रस्तुत किए गए।

यह भी पढ़ें 👉  श्री गुरु तेग बहादुर जी की 350वीं शहादत दिवस पर भव्य कार्यक्रम का आयोजन
बाइट: एस एस नेगी उपाध्यक्ष उत्तराखंड पलायन निवारण आयोग

सफल आजीविका मॉडलों पर हुआ व्यापक विमर्श


इसी प्रकार चंपावत जिले के विभिन्न स्थानों से आए अन्य प्रवासियों ने कृषि आधारित उद्यम, पशुपालन, हस्तशिल्प, पर्यटन सेवाओं और स्वरोजगार के क्षेत्रों में अपने सफल मॉडल साझा किए। वहीं इस सम्मेलन में विभागीय समन्वय के माध्यम से रोजगार एवं उद्यमिता के उपलब्ध अवसरों, सरकारी योजनाओं, ऋण सुविधाओं, कौशल विकास कार्यक्रमों की संपूर्ण जानकारी दी गई। सम्मेलन में 40 से अधिक रिवर्स पलायन कर चुके प्रतिभागियों ने अपनी बात रखते हुए ग्रामीण क्षेत्रों में आजीविका के विस्तार, विपणन सहायता, प्रशिक्षण, स्थानीय उत्पादों की ब्रांडिंग और संसाधनों के उत्तम उपयोग को लेकर सुझाव भी आयोग को प्रदान किए। वहीं खेती करने वाले ग्रामीणों ने बताया कि आज गांव में जंगली जानवर सबसे बड़ा खतरा बन चुके हैं, सरकार को इनसे बचाव के साधन स्थापित करने होंगे तथा गांव में अन्य सुविधाओं का विकास भी करना होगा। पर्वतीय क्षेत्र में कोल्ड स्टोरेज व मंडिया स्थापित करनी होंगी जिससे ग्रामीणों को उनके कृषि उत्पादों का उचित मूल्य मिले और ग्रामीण पलायन न करें।

More in उत्तराखंड

Trending News

Follow Facebook Page